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मैं अंदर ही अंदर भभक रहा हूँ - Hindi Sms

जलते बुझते दिये सा लग रहा हूँ
मैं अंदर ही अंदर भभक रहा हूँ

किसी और की ज़रूरत ही क्या मुझे अब
मैं ठहरा खुदगर्ज खुद ही खुद को ठग रहा हूँ

ये कैसी आग है जो जलती नहीं
बुझकर भी अश्क़ों के साये में सुलग रहा हूँ

शख्स था जो मुझमें जाने कहाँ चला गया
असल में भी अब तो नकल सा लग रहा हूँ।

– Hindi Sms

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